INR (₹)
India Rupee
$
United States Dollar

आयुर्वेद के अनुसार हमारा शरीर किस प्रकार का है ?

Created by Asttrolok in Astrology 30 Aug 2023
Share
Views: 240
आयुर्वेद के अनुसार हमारा शरीर किस प्रकार का है ?
हमारा शरीर हमारे जीवन के लिए अमूल्य है । जो लोग अपने शरीर के बारे सब कुछ जानते हैं और उसी के अनुसार अपने शरीर की देखभाल करते हैं उनका शरीर भी उनका बखूबी साथ निभाता है । किन्तु इसके लिए हमें अपने शरीर को पूरी तरह से जानना समझना होगा व उसकी जरूरतों का विशेष ध्यान रखना होगा । आयुर्वेद में मानव शरीर के बारे में बहुत कुछ बताया गया है। आज हम आयुर्वेद के अनुसार जानेंगे कि हमारा शरीर किस प्रकार का है व शरीर के प्रकार के हिसाब से उसकी देखभाल कैसे करनी चाहिए ।

आयुर्वेदिक ज्योतिष पाठ्यक्रम ऑनलाइन सीखें और आयुर्वेद और ज्योतिष के बारे में सब कुछ जानें। एस्ट्रोलोक एक वैदिक ज्योतिष प्रशिक्षण संस्थान है, जो ऑनलाइन ज्योतिष पाठ्यक्रमों की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान करता है जिसमें आप वास्तु पाठ्यक्रम, शुरुआती लोगों के लिए हस्तरेखा विज्ञान, ज्योतिष पाठ्यक्रम ऑनलाइन सीख सकते हैं। अभी सीखना शुरू करें

आयुर्वेद के अनुसार मनुष्य का शरीर तीन प्रकार का होता है -



  1. वात 



  1. पित्त 



  1. कफ 


हमारा शरीर इन तीनों में से किसी एक प्रकार का होता है व उसके अनुसार ही संचालित होता है । हम से बहुत सारे लोग यह नहीं जानते हैं कि उनका अपना शरीर इन तीनों में से किस प्रकार का है । वात ,पित्त और कफ को जानने से पहले हमारे लिए पंचतत्व को जानना आवश्यक है । जैसा कि हम अपने अन्य लेख में बात कर चुके हैं कि हमारे शरीर को चलाने में पाँच तत्वों का योगदान है और वो पाँच तत्व हैं -

  1. अग्नि तत्व 

  2. जल तत्व 

  3. भूमि तत्व 

  4. वायु तत्व 

  5. आकाश तत्व 


इन पांचों तत्वों के बारे में विस्तार से जानने के लिए आप हमारा शरीर के पंचतत्वों पर लिखा गया लेख पढ़ सकते हैं । अभी हम क्रम से वात ,पित्त व कफ के बारे में जानेंगे ।

यह भी पढ़ें:- हमारे शरीर में पंचतत्व किस तरह काम करते हैं



वात प्रकार का शरीर -


पाँच तत्वों में से 2 तत्वों वायु तत्व व आकाश तत्व के योग से वात बनता है। शरीर पर रूखापन व खुरदुरापन वात की प्रमुख पहचान है । इसके अलावा ऐसे लोगों का शरीर बहुत सक्रिय रहता है और इनकी नींद भी हल्की होती है यानि जरा से शोर से इनकी नींद टूट जाती है । 

वात प्रकृति के लोगों को रूखेपन के कारण त्वचा संबंधी समस्याएं आती हैं । शारीरिक दुर्बलता या कम नींद आना भी वात में होता है । ऐसे लोग बहुत भावुक होते हैं यानि उन्हे बहुत जल्दी क्रोध आ जाता है और जल्दी से भूल भी जाते हैं । वायु तत्व के प्रभाव इनके मन पर भी पड़ता है इसलिए इनका ध्यान एक जगह एकाग्र ना होकर वायु की तरह इधर उधर भटकता रहता है । हालांकि ये लोग बहुत रचनात्मक और वैचारिक दृष्टि से समृद्ध होते हैं । 

पित्त प्रकार का शरीर -


पित्त शरीर अग्नि तत्व व जल तत्व के योग से बना होता है । अग्नि व जल की तरह ही ऐसे लोग अपनी प्रवृत्ति में विरोधाभाषी होते हैं । अग्नि तत्व के प्रभाव से ऐसे लोगों को गुस्सा बहुत जल्दी आता है किन्तु जल तत्व के होने से उतनी ही जल्दी शांत भी हो जाता है । इनकी बालों की समस्या अवश्य होती है जैसे बाल झड़ना या बाल सफेद होना । बहुत अधिक भूख लगना भी पित्त की पहचान होती है । ऐसे लोगों में नेत्रत्व क्षमता है और समाज में अपने कार्यों से पहचान बनाने में सफल होते हैं । 
कफ प्रकार का शरीर -

भूमि तत्व और जल तत्व के योग से कफ बनता है । भूमि तत्व होने के कारण ऐसे लोगों का शरीर भारी होता है और बहुत जल्दी वजन बढ़ जाता है । ये लोग काफी गहरी नींद में सोते हैं और देर तक सोना पसंद करते हैं । चिकनाई के कारण प्रायः ऐसे लोगों का रंग साफ होता है । शरीर के तीनों प्रकारों में ये लोग सबसे ज्यादा आलसी होते हैं । 
निष्कर्ष -

इस प्रकार से हमने मानव शरीर के तीन प्रकार वात ,पित्त व कफ के बारे में समझा । इसके आधार पर आप पता लगा सकते हैं कि आपका शरीर किस प्रकार का है । आयुर्वेद के अनुसार सबसे आदर्श वो शरीर होता है जिसमें वात ,पित्त व कफ तीनों के गुण समान अनुपात में पाए जाते हैं ।

यह भी पढ़ें:- शादी में विलंब का कारण!

Comments (0)

Asttrolok

Asttrolok

Admin

Consultants

Mamta Arora

Mamta Arora

Astrology Hindi, English Exp: 3+ Year
Navneet Pandey

Navneet Pandey

Astrology Hindi, English Exp: 3+ Year
Raj Sekhar

Raj Sekhar

Astrology Hindi, English Exp: 4+ Year
Dr. Milan Solanki

Dr. Milan Solanki

Astrology, Ayurveda Expert Hindi, English Exp: 5+ Year
Baneshwar Pai

Baneshwar Pai

Astrology Hindi, English Exp: 3+ Year
Dr. Narendra Umrikar

Dr. Narendra Umrikar

Astrology | Vastu Specialist
Jigyasa Agrawal

Jigyasa Agrawal

Astrology Hindi, English Exp: 6+ Year
Udayan Dalmia

Udayan Dalmia

Astrology 4+Year Exp. Hindi, English

Share

Share this post with others

GDPR

When you visit any of our websites, it may store or retrieve information on your browser, mostly in the form of cookies. This information might be about you, your preferences or your device and is mostly used to make the site work as you expect it to. The information does not usually directly identify you, but it can give you a more personalized web experience. Because we respect your right to privacy, you can choose not to allow some types of cookies. Click on the different category headings to find out more and manage your preferences. Please note, that blocking some types of cookies may impact your experience of the site and the services we are able to offer.